भाजपा से निलंबन के बावजूद नहीं थमा विरोध, माफी की मांग पर अड़े युवा नेता
जयपुर (राजस्थान), अप्रैल 2025 – राजस्थान की राजनीति उस वक्त गरमा गई जब भाजपा के पूर्व विधायक ज्ञानदेव आहूजा ने एक विवादित बयान देकर दलित समाज को अपमानित कर दिया। यह बयान न केवल सामाजिक सद्भावना को ठेस पहुँचाने वाला था, बल्कि पूरे राज्य में विरोध-प्रदर्शनों की लहर भी पैदा कर गया।
ज्ञानदेव आहूजा का विवादित बयान:
दलित समाज को लेकर दिए गए अपमानजनक शब्दों से समाज के लाखों लोगों की भावनाएं आहत हुई हैं। सामाजिक संगठनों, राजनीतिक कार्यकर्ताओं और युवा नेताओं ने इस बयान की कड़ी आलोचना की है।
भाजपा ने की सख्त कार्रवाई:
भाजपा ने त्वरित प्रतिक्रिया देते हुए ज्ञानदेव आहूजा को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से निलंबित कर दिया है। हालांकि, इससे समाज में फैले गुस्से में कोई कमी नहीं आई है।
युवा नेता एडवोकेट कमल सिंह का ऐलान:
युवा नेता एडवोकेट कमल सिंह ने कहा,
"यह केवल एक वर्ग नहीं, पूरे बहुजन समाज का अपमान है। जब तक माफी नहीं मांगी जाती, तब तक संघर्ष जारी रहेगा। जब तक तोड़ेंगे नहीं, तब तक छोड़ेंगे नहीं।"
भवानी सिंह तोप पर पुतला दहन:
राजस्थान के खैरथल-तिजारा जिले में स्थित स्थल भवानी सिंह तोप सर्किल पर लोगों ने ज्ञानदेव आहूजा का पुतला जलाकर अपना विरोध जताया। इस मौके पर कई सामाजिक कार्यकर्ताओं और स्थानीय युवाओं ने एक स्वर में माफी की मांग की।
राजस्थान में बढ़ता जनआक्रोश:
राज्य के कई जिलों में धरने-प्रदर्शन हो रहे हैं। सोशल मीडिया पर भी #ज्ञानदेव_माफी_मांगो और #ShudraSamman ट्रेंड कर रहे हैं। समाज का एक बड़ा तबका यह मानता है कि जब तक ज्ञानदेव आहूजा सार्वजनिक रूप से माफी नहीं मांगते, आंदोलन रुकने वाला नहीं है।